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महाराष्ट्र के अहमदनगर के सिविल अस्पताल में अचानक आग लग गई जिससे अब तक 10 मरीजों की मौत हो गई है जो कोरोना पॉजिटिव थे और 6 लोग बुरी तरह झुलस गए हैं, जिन का इलाज चल रहा है। सामान्यतः मरीजों का इलाज चल रहा था और मरीज आईसीयू में लेटे हुए थे। आईसीयू वार्ड में लगभग 20-25 मरीज थे जिनमें से 10 मरीजों की मौत हो गई और 6 मरीज बुरी तरह झुलस गए हैं। आईसीयू में आग लगने से सभी मरीजों में भागा दौड़ी मच गई और जल्दी-जल्दी में जो भाग सकते थे वह जल्दी से बाहर निकल गए और जिन्हें भागने का मौका नहीं मिला उनकी मौत हो गई। आईसीयू में सामान्यतः उन्हीं लोगों को एडमिट किया जाता है जिनकी तबीयत गंभीर होती है और यह मरीज कोरोना से ग्रसित थे जिससे सांस लेने में तकलीफ होती है और ऊपर से आग लग जाने पर इतना धुआं बढ़ जाता है कि दिखाई भी नहीं देता कि किधर जाना है किधर नहीं और जब यह धुआं सांसो द्वारा अंदर जाता है तो बचने के चांस बिल्कुल ना के बराबर होते हैं जिससे मरीजों की मौत हो जाती हैं।
जानकारी से पता चला है कि आईसीयू में आग शॉर्ट सर्किट की वजह से लगी है। कलेक्टर राजेंद्र भोसले ने घटना की पुष्टि की है। लेकिन आईसीयू में आग लगने की यह कोई पहली घटना नहीं है ऐसा हमारे देश में होता ही रहता है लेकिन आईसीयू में शार्ट सर्किट ना हो इसके लिए कोई उपाय नहीं किए जाते हैं। मरीज आईसीयू में आग लगने के कारण मरेंगे और सरकार और इससे संबंधित लोग मरने वालों के घर वालों को कुछ धनराशि दे देंगे लेकिन आगे ऐसी घटना ना हो इसके लिए कोई उपाय नहीं करेंगे।
महाराष्ट्र सरकार के मंत्री नवाब मलिक ने कहा कि इस घटना में जो भी दोषी है उस पर कार्रवाई की जाएगी और मरने वाले मरीजों के घर वालों को धनराशि दी जाएगी नवाब मलिक ने कहा कि- यह आग अस्पताल के बने आईसीयू वार्ड में लगी थी यहां कोरोना के मरीज थे । यह घटना गंभीर है। अस्पतालों को स्पष्ट आदेश दिया गया था कि अपने यहां वह फायर सेफ्टी ऑडिट कराएं । अब इसकी जांच की जाएगी पता लगाया जाएगा कि इस अस्पताल ने फायर सेफ्टी ऑडिट करवाई थी या नहीं अगर अस्पताल ने ऑडिट नहीं करवाया तो एक गंभीर घटना है।