IIT Entrance Exam: उम्र महज एक नंबर है शुरुआत करने की कोई उम्र नहीं होती, IIT Entrance Exam देने जब पहुंचा 80 साल का नौजवान

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IIT Entrance Exam: उम्र सिर्फ महज एक नंबर है। ये कहावत केरल के 80 साल की नंदकुमार के मेनन पर फिट बैठती हैं। जिस उम्र में एक सामान्य आदमी दौड़ धूप या फिर तनाव पूर्ण कार्यों से थककर सिर्फ आराम करना चाहता है। उसी उम्र में मेनन अभी भी सीखने की चाह रखते हैं। इसकी वजह से उन्होंने आईआईटी की प्रवेश परीक्षा दी। जब रविवार को वह परीक्षा देने पहुंचे तो गार्ड ने उन्हें अभिभावक समझकर परीक्षा केंद्र के गेट पर ही रोक लिया।

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मेनन आईआईटी मद्रास की ऑनलाइन कोर्स की प्रवेश परीक्षा में शामिल हुए




IIT Entrance Exam, मेनन आईआईटी मद्रास की प्रोग्रामिंग तथा डाटा साइंस ऑनलाइन कोर्स की प्रवेश परीक्षा में शामिल हुए थे। हालांकि इसमें बैठने के लिए उन्होंने एक कठिन योग्यता प्रक्रिया पास की है। रविवार की शाम को संपन्न हुई 4 घंटे की ऑनलाइन परीक्षा में भाग लेने के बाद से मेनन यह बताया कि केंद्र में करीब 120 उम्मीदवार में से 90 फ़ीसदी से अधिक अभ्यर्थी युवा थे। उन्होंने कहा कि इस परीक्षा में उनका पिछले 50 वर्षों का अनुभव काम आया।

मेनन कठिन योग्यता प्रक्रिया को पास करके ही मुख्य परीक्षा में बैठे



रविवार को मेनन जिस प्रवेश परीक्षा में शामिल हुए उसके लिए पहले से ही 4 विषयों की साप्ताहिक योग्यता परीक्षाओं को पास करना होता है। हालांकि कुल मिलाकर चारों विषयों की योग्यता परीक्षाएं होती हैं जिनमें से अभ्यार्थी को सारे विषय में कम से कम 50 फ़ीसदी अंक हासिल करने होते हैं। ये अहर्ता पूरी करने वाले अभ्यार्थियों को ही इस प्रवेश परीक्षा में सम्मिलित होने के लिए बुलाया जाता है। जबकि इसके लिए मेनन सुबह से रात तक पढ़ाई करते थे।

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मेनन के बेटे ने नहीं पास कर पाए परीक्षा



मेनन के साथ ही साथ संयुक्त अरब अमीरात में रह रहे हैं उनके बेटे सेतु नंदकुमार ने भी इसी प्रवेश परीक्षा की तैयारी की थी। सेतु पेशे से वकील हैं। मेनन और सेतु ने 4 विषयों के लिए 4 सप्ताह की लंबी कक्षाओं में भाग लिया। लेकिन सेतु जोकि स्पेशल डाक्टरेट की तैयारी कर रहे हैं। वह गणित के सवालों के सही उत्तर न दे पाने की वजह से योग्यता परीक्षा में शामिल नहीं हो पाए।

मेनन अमेरिका से इंजीनियरिंग कर चुके हैं



द हिंदू अखबार के अनुसार मेनन ने कॉलेज आफ इंजीनियरिंग त्रिवेंद्रम से ग्रेजुएशन किया है। इसके बाद से उन्होंने अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी नेशनल एयरोनॉटिक्स एंड स्पेस एडमिनिस्ट्रेशन (नासा) द्वारा प्रायोजित छात्रवृत्ति के अंतर्गत अमेरिका के सिरैक्यूज विश्वविद्यालय से क्रोयोजेनिक इंजीनियरिंग में पोस्ट ग्रेजुएट की। चूंकि कुछ समय बाद से वह अपना ग्रीट कार्ड (गैर अमेरिकी नागरिक को अमेरिका में अस्थाई निवास की अनुमति का प्रमाण) छोड़कर भारत लौट आए तथा यहीं पर इंजीनियरिंग के तौर पर काम करना शुरू किया।

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प्रवेश परीक्षा की तैयारी इस तरह की



IIT Entrance Exam मेनन ने परीक्षा की तैयारी करने के लिए रोजाना सुबह 5:30 बजे उठ जाते थे। रात को 10 बजे तक पढ़ाई करते थे। हालांकि उन्होंने अपने बेटे सेतु जो संयुक्त अरब अमीरात में एक वकील है, उन्हीं के साथ 4 विषयों में महीने भर की क्लास ज्वाइन किया।‌ हालांकि परीक्षा पास करने के उद्देश्य से मेनन ने सभी चार विषयों गणित, डेटा प्रोसेसिंग, अंग्रेजी और सांख्यकीविद् की साप्ताहिक परीक्षाओं में भी हिस्सा लिया। जबकि प्रवेश परीक्षा पास करने के सभी विषयों में न्यूनतम 50 फ़ीसदी अंक प्राप्त करना अनिवार्य है। चूंकि नंदकुमार क्वालीफाई नहीं कर सके लेकिन उन्होंने अन्य उम्मीदवारों को कड़ी टक्कर दी।






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