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घर वापस आ रहे प्रवासी मजदूरों ने पारले जी को अच्छा खासा लाभ पहुंचाया

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इकनॉमिक टाइम्स में खबर छपी है कि लॉक डाउन हुआ और इस लॉक डाउन में पार्ले कंपनी को अच्छा खासा लाभ पहुंचाया लॉकडाउन के चलते पारले जी की बिक्री बढ़ी है उसको अधिक लाभ हुआ है,

Parle g

हालांकि बिस्कुट बनाने वाली कंपनी ने आंकड़े नहीं शेयर करते हुए यह बताया कि मार्च -अप्रैल और मई महीने बिक्री बढ़ी है.

Parle-g पार्ले कंपनी का सबसे मशहूर प्रोडक्ट है सन 1938 से बनाया जा रहा है. सन 2019 में जो आर्थिक मंदी की बात हो रही थी तो कंपनी का भी बयान आया था इसी पारले जी की सेल घट गई थी लेकिन अब स्थिति कुछ और ही है.

मयंक साह पारले के सेल्स के हेड है उन्होंने अखबार से बात करते हुए कहा कि

पारले जी की सेल्स बढ़ने की वजह से पारले जी का मार्केट प्रोडक्शन पांच परसेंट बढ़ा है. और पारले जी के ही सेल्स में ही 80 से 90% की बढ़ोतरी हुई है ऐसा पहली बार हुआ है.

ऐसा कैसे हुआ,

इसके पीछे का कारण है लॉगडाउन की वजह से जब प्रवासी मजदूर वापस अपने घर आ रहे थे तो इनको मदद पहुंचाने के लिए जो लोग आगे आए थे उन्होंने पारले जी की अच्छी खासी खपत की और मजदूरों में पारले जी का बिस्कुट बांटा जिससे पारले को काफी फायदा हुआ इतना ही नहीं जब लॉकडाउन की घोषणा हुई तब भी घर के सामानों को इकट्ठा करने में लोगों ने पारले की खपत को बढ़ाया. जिससे भी पारले को अधिक फायदा हुआ,

“यह आम आदमी का बिस्कुट है जो लोग ब्रेड नहीं खरीद सकते वह लोग भी यह biscuit को जरूर खरीदते हैं”.

खबरों में मौजूद आंकड़े यह भी कहते हैं कि Parle g के और भी प्रोडक्शन जैसे क्रेक्जैक, मोनाको, हाइड एंड सीक की भी बिक्री काफी बड़ी है. यानी कंपनी पिछले साल दिन प्रोडक्शनओं को लेकर शिकायत कर रही थी. आज उन सभी प्रोडक्शनओं का बाजार बड़ा है जिससे पार्ले कंपनी को बहुत अधिक मात्रा में फायदा पहुंचा है,

Brijendra Kumar

Founder and Chief Editor

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