किस बात का इंतजार कर रहे हैं आप। अगर आपको घूमना फिरना पसंद है और स्पेशली अगर आपको नेचर के साथ समय बिताना अच्छा लगता है। तो अपना बैक पैक करिए और पहुंच जाइए, उदयपुर।
आपको यदि अपनी पसंदीदा जगह पर घूमना पसंद है। तो आपको कहीं दूर जाने की जरूरत नहीं है। भारत के शहर में से एक ऐसा ही शहर है उदयपुर। जहां की संस्कृति, झीलों, खरीदारी, व्यंजनों और नैसर्गिक खूबसूरती से लिपटी हुई है। शायद आपको यह पता ही होगा कि घूमने के लिए उदयपुर दुनिया में तीसरा सबसे अच्छी जगह है। एक सर्वे के मुताबिक, उदयपुर जिसे झीलों का शहर तथा पूर्व के वेनिस के नाम से भी जाना जाता है। जो दो मैक्सिकन शहरों सैन मिगुएल डी अलेंदे और ओक्साका के बाद तीसरे स्थान पर रखा गया है।
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उदयपुर एक बहुत ही खूबसूरत पर्यटन स्थल है। यह अपने संस्कृति, दर्शनीय स्थलों, राजपूत-युग के लिए जाना जाता है। उदयपुर “झीलों के शहर” के रूप में जाना जाता है। शहर के चारों तरफ सात झीलें है। विश्व भ्रमण करने वाले शौकीनों के लिए उदयपुर उनके सबसे पसंदीदा जगहों में से एक हैं। इसी वजह से इसे 2018 में एशिया में नंबर वन शहर के रूप में नामित किया गया था।
यह पहले राजपूताना एजेंसी में मेवाड़ राज्य की ऐतिहासिक राजधानी भी रह चुकी हैं। इसकी स्थापना 1558 में राजपूत के सिसोदिया वंश की उदय सिंह द्वारा की गई थी। उन्होंने जब चित्तौड़गढ़ से अपनी राजधानी उदयपुर में शिफ्ट की थी। अकबर ने जब चित्तौड़गढ़ को घेर लिया था। या 1818 तक राजधानी शहर के रूप में बना रहा। उसके बाद भारत ने जब 1947 में स्वतंत्रता प्राप्ति की तो मेवाड़ प्रांत में राजस्थान का हिस्सा बन गया।
दुनिया भर में प्रकृति एवं मानवीय रचना से समृद्ध अपनी सौंदर्य के लिए राजस्थान का एक शहर उदयपुर जाना जाता है। यहां के महलों और हवेलियों की भव्यता को देख कर दुनिया भर के पर्यटक इसकी तरफ खीचे चले आते हैं। यहां शानदार बाग बगीचे, संगमरमर की महल, हवेलिया और झीलें आज इस शहर की शान में चार चांद लगा देते हैं। अरावली की पहाड़ियों से घिरे तथा पांच मुख्य झीलों के शहर को देखने या फिर घूमने के लिए सितंबर से अप्रैल तक का महीना बहुत ही आकर्षित करने वाला होता है।
राजस्थान का ऐसा शहर जो अपनी खूबसूरती से लोगों को अपनी तरफ आकर्षित करता है वो है उदयपुर। दिल्ली से लगभग 664 किलोमीटर दूर है। सड़क के तरफ से दिल्ली से उदयपुर पहुंचने में करीब 13 घंटे लगते हैं, तो वही ट्रेन से 20 घंटे के आसपास लगता है। महाराणा प्रताप एयरपोर्ट उदयपुर से करीब 26 किमी की डिस्टेंस है। दिल्ली से उदयपुर के लिए ज्यादातर ट्रेन सराय रोहिल्ला रेलवे स्टेशन आती-जाती हैं। यूं तो राजस्थान में घूमने फिरने के लिए सर्दियों का समय सबसे बेहतर है। लेकिन फिर भी, झीलों की नगरी होने की वजह से गर्मियों में भी ज्यादा तपिश महसूस नहीं होती। जिलों के इर्द-गिर्द घूमना काफी सुकून भरा होता है। मानसून के समय खूबसूरती अपने चरम सीमा पर होती है।
उदयपुर को ‘झीलों के शहर’ के नाम से भी जाना जाता है। शहर में एक परस्पर झील प्रणाली है। जिसके द्वारा भूजल का पुनरूत्थान और जलवायु परिस्थितियों को नियंत्रित किया जाता है। यहां की प्रसिद्ध झील है उसका नाम, पिछोला झील, बड़ी झील, फतेहसागर झील, जयसमंद झील, और दूध तलाई झील।
Udaipur: पिछोला झील स्थित लेक पैलेस (झीलों का महल) या फिर जग निवास अब एक हेरीटेज होटल के रूप में स्थित है। जिसको ताज ग्रुप द्वारा चलाया जा रहा है। एक समय ऐसा था जब यहां सिसोदिया शासकों के लिए गर्मी के मौसम का महल हुआ करता था। इसे दुनिया और भारत की सबसे रोमांटिक होटलों के रूप में चुना गया है।