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Fertilizer Subsidy: सरकार उर्वरक Subsidy पर संशोधन करने के लिए तैयार, जानिए क्यों होगा सब्सिडी में संशोधन

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Fertilizer Subsidy: देश के 14 एकड़ और किसानों को राहत देने के लिए केंद्र सरकार ने Fertilizer subsidy बढ़ाने का फैसला कर लिया है। खरीफ का सीजन आ रहा है तथा उर्वरक को में राॅ मटेरियल काफी महंगे हो रहे हैं। अभी हाल ही में खाद company ने DAP की कीमतों में ₹150 की वृद्धि भी हुई है। यूरिया तथा दूसरी उर्वरकों के दाम में भी वृद्धि होने की पूरा आशंका है। ऐसे में पहले से डीजल की बढ़ती कीमतों से परेशान किसानों पर सरकार खाद की महंगाई का बोझ नहीं डाल सकती।

मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार कैबिनेट की बैठक में fertilizer subsidy बढ़ाने की मंजूरी दी गई है। सरकार अगर subsidy नहीं बनाएगी तो किसानों को खाद खरीदना महंगा पड़ेगा। लेकिन सरकार किसानों से मांगा खाद खरीदवाने का राजनीतिक रिस्क भी नहीं लेना चाहती है।

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किसानों पर ना पड़े राॅ मटेरियल की वृद्धि का बोझ



सरकार का यह प्रयास है कि राॅ मटेरियल के रेट में वृद्धि का बोझ किसानों पर न पड़े। इसलिए वह सब्सिडी का भार उठाने को भी तैयार कर रही है। यह बताया गया है कि यूक्रेन तथा रूस युद्ध के चलते अंतरराष्ट्रीय बाजार में उर्वरकों के राॅ मटेरियल की कीमतें बहुत तेजी से बढ़ रही हैं, क्योंकि फास्फेटिक तथा पोटेशियम उर्वरकों की आपूर्ति भी प्रभावित हो रही हैं। खाद company के अनुसार राॅ मटेरियल काफी महंगा हो गया है। कनाडा, मलेशिया, इंडोनेशिया, जाडन, अमेरिका तथा चाइना से भी खाद का राॅ मटेरियल आता है।

बीते कुछ सालों में Fertilizer Subsidy 80 करोड़ रुपए के आसपास थी



बीते कुछ सालों से उर्वरक सब्सिडी 80 करोड़ रुपए के आसपास ही होती थी। लेकिन रॉ मैटेरियल के बढ़ने के कारण से डीएपी का दाम करीब डबल हो गया था। सरकार ने भी इसी लिए भारी सब्सिडी देकर किसानों को राहत दी। लेकिन इससे 2020 से 2022 में उर्वरक subsidy 1.28 लाख करोड़ रुपए तक पहुंच गई थी। इसके बाद से फिर से राॅ मटेरियल के दामों में भी तेजी आई तभी भी सरकार ने यह निर्णय लिया कि इसका असर किसानों पर नहीं पड़ने दिया जाएगा। इस प्रकार से 2021 से 2022 में ये इससे भी अधिक हो गई। यह बताया जा रहा है कि इस बार ये सब्सिडी 1.4 से 1.5 लाख करोड़ रुपए तक पहुंच जाएगी।

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गुजरात के राज्यपाल ने फर्टिलाइजर सब्सिडी का मुद्दा उठाया



25 अप्रैल सोमवार को नीति आयोग द्वारा विज्ञान भवन में प्राकृतिक खेती पर आयोजित एक बैठक में गुजरात के राज्यपाल आचार्य देवव्रत ने fertilizer subsidy का मुद्दा उठाया था। कृषि विशेषज्ञों का कहना था कि कुछ समय में फर्टिलाइजर सब्सिडी दो लाख करोड़ रुपए तक भी पहुंच सकती है। एमपी के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने यह कहा था कि जिस तरह से हरित क्रांति के लिए किसानों को रासायनिक खाद पर सब्सिडी तथा अन्य सहायता उपलब्ध कराई गई। उसी तरह प्राकृतिक खेती अपनाने के लिए भी किसानों को प्रोत्साहन देने तथा सहयोग करने की आवश्यकता है।

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अंग्रेजी अखबार की रिपोर्ट के मुताबिक



बता दे कि अंग्रेजी अखबार मिंट की एक रिपोर्ट के मुताबिक उर्वरक विभाग ने पर्यटन में यह कहा था कि उर्वरक तथा कच्चे माल की अंतरराष्ट्रीय कीमतें जनवरी 2021 से लगातार ही बढ़ रही हैं। ‌ इसके साथ ही साथ प्रेजेंटेशन यह कहा गया है कि एक अंतर मंत्रालय समिति ने खरीफ 2022 के लिए नाइट्रोजन, पोटैशियम, सल्फर तथा फास्फोरस के लिए पोषक तत्व आधारित सब्सिडी दरों में भी संशोधन की सिफारिश की है।

जो एक विशेष रूप से सिर्फ इसी बार के लिए होगी तथा यह सब्सिडी मार्च 2022 में उर्वरकों की औसत अंतरराष्ट्रीय कीमतों के आधार पर ही तय होगी। मीट की रिपोर्ट के मुताबिक पर सिटीजन में यह कहा गया है कि खरीफ 2022 के लिए पोषक तत्व आधारित सब्सिडी दरों पर कैबिनेट की मंजूरी की भी इंतजार है।

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