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कोरोना से अनाथ हुए बच्चे ? सरकार ने अनाथ बच्चों (Arphan children )के भविष्य के लिए क्या योजना बनाई  है  ?वह बच्चे जिनके माता पिता के मृत्यु प्रमाण पत्र में मृत्यु का कारण कोरोना नहीं लिखा गया ?

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मेरठ में रहने वाली  3 बच्चियां जिनके माता-पिता की मृत्यु कोरोना के संक्रमण के कारण हो गई बड़ी बेटी 16 साल की है और उसका अध्यापिका बनने का सपना है।

कोरोना से हुए अनाथ बच्चों (Arphan children )का भविष्य :–

कोरोना महामारी से बहुत से घर उजड़ गए किसी का तो पूरा का पूरा परिवार उजड़ गया।किसी एक सदस्य में कोरोना संक्रमण होने से परिवार के बाकी सदस्य मैं भी परिवार के एक के बाद एक सदस्य कोरोना वायरस के गाल में समा गए उन बच्चों का क्या जिनके माता-पिता महामारी ने छीन लिए।  अनाथ बच्चों(Arphan children) में बहुत से बच्चे ऐसे हैं जो ना अभी कमाने लायक है ना ही खुद की देखभाल करने लायक है। सरकार  ने घोषणा की है कि अनाथ बच्चों को आर्थिक सहायता शिक्षा प्रदान की जाएगी लेकिन सोचने वाली बात यह है की आर्थिक सहायता और शिक्षा माता-पिता की कमी को पूरा नहीं कर सकते। कोरोना वायरस के साथ-साथ सरकार का भी बड़ा रोल है बच्चों  के बचपन छीनने और बच्चों के सिर से माता पिता का साया छीनने का ।

सरकार की पीएम केयर फॉर चिल्ड्रन योजना ( PM care for children  policy )  में अनाथ बच्चों को क्या सहायता मिल रही है :–

कोविड-19 के कारण माता-पिता दोनो या माता-पिता में से एक जीवित बचे अभिभावक/ दत्तक माता-पिता को खोने वाले सभी प्रभावित बच्चों को पीएम केयर फॉर चिल्ड्रन योजना के तहत सहायता दी जाएगी।

*  इस योजना के तहत बच्चे के नाम पर सावधि जमा (फिक्स्ड डिपॉजिट) किया जाएगा। पीएम के 18 वर्ष की आयु पूरी करने वाले कोविड-19 लाइन प्रभावित प्रत्येक बच्चे के लिए 10 10 लाख कोष का निर्माण करेगा इस कोष में 18 वर्ष की आयु से अगले 5 वर्षों तक उच्च शिक्षा  की  अवधि के दौरान उनकी व्यक्तिगत जरूरतों को पूरा करने के लिए मासिक सहायता याद छात्रवृत्ति दी जाएगी । 23 वर्ष की आयु पूरी करने पर लड़की और लड़कों को  व्यक्तिगत और व्यावसायिक उपयोग के लिए एक मुस्त राशि दी जाएगी।

बच्चे के चेहरे से झलकता माता-पिता के चले जाने का दर्द

* इस योजना के अंतर्गत 10 साल से कम आयु के बच्चों के लिए स्कूली और की व्यवस्था की गई है अगर किसी बच्चे का दाखिला किसी निजी स्कूल में होता है तो पीएम केयर से शिक्षा के अधिकार के अनुसार फीस दी जाएगी बच्चे को नजदीकी केंद्रीय विद्यालय या निजी विद्यालय में डे स्कॉलर रूप में प्रवेश दिलाया जाएगा पीएम केयर से यूनिफॉर्म पाठ्य पुऐस्तक या नोटबुक पर होने वाले खर्च का भी भुगतान करेगा।

*  स्कूली शिक्षा 11 से 18 वर्ष की आयु के बच्चों को केंद्र सरकार के आवासीय विद्यालय, सैनिक स्कूल नवोदय विद्यालय आदि में प्रवेश दिया जाएगा। यदि बच्चा अभिभावक /दादा-दादी/ विस्तारित परिवार की देखरेख में है तो उसे केंद्रीय विद्यालय  या निजी स्कूल में डे स्कॉलर के रूप में प्रवेश दिया जाएगा। यदि बच्चे का दाखिला किसी निजी स्कूल में होता है तो पीएम केयर्स से शिक्षा के अधिकार नियम के अनुसार फीस दी जाएगी। यूनिफॉर्म पाठ्यपुस्तक नोटबुक का भुगतान पीएम केयर द्वारा किया जाएगा।

* इस योजना के तहत उच्च शिक्षा के लिए सहायता दी गई है विकल्प के रूप में प्रभावित बच्चों को केंद्र या राज्य सरकार की योजनाओं के तहत स्नातक व्यवसायिक पाठ्यक्रमों के शिक्षण शुल्क और पाठ्यक्रम शुल्क के बराबर की छात्रवृत्ति छत्रपति प्रदान की जाएगी मौजूदा शिक्षा के मापदंडों के अनुसार भारत में व्यवसायिक पाठ्यक्रमों उच्च शिक्षा के लिए शिक्षा ऋण दिलाने में बच्चे की सहायता की जाएगी ।

* जो बच्चे मौजूदा छात्रवृत्ति योजनाओं के तहत पात्र नहीं है उनके लिए पीएम केयर एक समकक्ष छात्रवृत्ति प्रदान की जाएगी।

*  इस योजना के अंतर्गत 18 वर्ष की आयु तक इन बच्चों के लिए प्रीमियम की राशि का भुगतान पीएम केयर द्वारा किया जाएगा सभी प्रभावित बच्चों को आयुष्मान भारत योजना (PM JAY ) के तहत 500000 का बीमा दिया जाएगा

इस योजना का लाभ वह बच्चे कैसे उठाएंगे जिनके माता पिता के मृत्यु प्रमाण पत्र पर मृत्यु का कारण नहीं बताया गया ?

उन बच्चों को इस योजना का लाभ कैसे मिलेगा जिनके माता-पिता की मौत हो गई लेकिन गांव में जांच तक नहीं हो पाई  कि कौन सी  रहस्यमई बीमारी से मौत हो गई है।

कोरोना के कारण अनाथ हुए बच्चे

उन बच्चों को इस योजना का लाभ कैसे मिलेगा जिनके माता-पिता ऑक्सीजन एंबुलेंस और इलाज के लिए दर-दर एक अस्पताल से दूसरे अस्पताल भटक कर मर गए।

उन बच्चों को इस योजना का लाभ कैसे मिलेगा जिनके माता-पिता की मौत हो गई कोलेशन में हो गई है।

उन बच्चों को इस योजना का लाभ कैसे मिलेगा जिनके माता-पिता की कोरोना से डेथ हो गई लेकिन उनके माता पिता के मृत्यु प्रमाण पत्र मृत्यु का कारण वाला कॉलम खाली है।

माता पिता के चले जाने के बाद अनाथ बच्चे कैसे सिद्ध करेंगे कि उनके माता पिता की मौत कोरोना के संक्रमण के कारण हुई है।

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